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मेरी छुट्टियां समाप्त होने को थी अतः
मैं दिल्ली आ गया। दोचार दिन वहां रूककर मैं वापस अबूधाबी आ
गया। इस बीच अखिलेश से न तो मेरी मुलाकात हुई और न ही फोन
पर कुछ बात हो पाई। यहां आकर डिसूजा से पता चला कि अखिलेश के
लिए पीटीए भेजा जा चुका है जिसकी सूचना अखिलेश को तार
द्वारा दे दी गई है। डिसूजा ने मुझसे कहा कि अगर अखिलेश से फोन पर
बात हो सके तो उससे जल्दी आने के लिए कहें क्योंकि नया सत्र शुरू
हो गया है। |
बी मुरली की मलयालम कहानी शिशिर की शारिका गत सप्ताह सबेरे आठ
बजे की धूप की तरफ देखते हुये सुनंदा बोली "बताओ
पवित्रन, अगले हफ्ते चलूं? थीसिस पूरा करना है। इस दिसम्बर में
भी न दूं तो बाद में बड़ी देर हो जायेगी।" उसने बातें
जारी रखीं "बाज़ आई तुम्हारे शहर से। अपने हिल स्टेशन की
गाड़ी पकडूंगी। एक काम करो। एक महीने के लिये फरार हो जाओ। वहां
सरदियां शुरू हो रही हैं।" °
डा सेवाराम त्रिपाठी का लेख हिन्दी ग़ज़ल के नये पड़ाव °
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आज सिरहाने।आभार।उपहार।कहानियां।कला दीर्घा।कविताएं।गौरवगाथा।घरपरिवार |
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प्रकाशन : प्रवीन सक्सेना परियोजना निदेशन : अश्विन गांधी
संपादन, कलाशिल्प एवं परिवर्धन : पूर्णिमा वर्मन सहयोग : दीपिका जोशी
तकनीकी
सहयोग :प्रबुद्ध कालिया
साहित्य संयोजन :बृजेश कुमार
शुक्ला