दीर्घायु प्रदान करने वाले पौष्टिक-भोजन
जिन्हें नित्य खाना चाहिये (संकलित)
९- हरी चाय
ग्रीन टी में ऐसे अनेक पोषक
तत्व होते हैं जिससे सेहत को लाभ होता है। इसमें मुख्य रूप
से विटामिन ए, विटामिन ई, विटामिन B5, विटामिन के,
राइबोफ्लेविन, थायमीन, मैंगनीज, पोटैशियम, कॉपर, आयरन,
ऑक्सीडेंट, पॉलीफेनॉल जैसे तत्व पाए जाते हैं, जो आप बेहतर
सेहत देने के लिये काम करते हैं। रोज ग्रीन टी पीने से रोग
प्रतिरोधक क्षमता मजबूत होती है- डाइटिशियन स्वाति बलीथाल
के मुताबिक ग्रीन टी के सेवन से आप कई बीमारियों से बच
सकते हैं। सबसे पहले तो इससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता
मजबूत होती है। जिस वजह से आप किसी भी बीमारी के चपेट में
जल्दी नहीं आ पाते। ग्रीन टी में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट
पॉलिफिनॉलिक शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ावा देने का
काम करते हैं।
प्रतिदिन ग्रीन टी का सेवन आपको वजन कम करने में मदद कर
सकता है। इसमें पॉलीफेनॉल पाया जाता है, जो शरीर के
मेटाबॉलिज्म को बढ़ावा देता है। इसके अलावा शरीर में चर्बी
के ऑक्सीकरण को भी बढ़ावा देता है। इसमें फैट और कार्ब्स
नहीं होते। ग्रीन टी पहले से बनी चर्बी को घटाने का काम
नहीं करती लेकिन नयी चर्बी को बनने से रोक सकती है। ग्रीन
टी में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट पॉलीफेनॉल और अमीनो एसिड्स
शरीर में हार्मोन को संतुलित कर मूड को ठीक करने का काम
करते हैं। इस कारण तनाव से मुक्ति महसूस हो सकती है। रोज
ग्रीन टी के सेवन से मस्तिष्क के तनाव के साथ-साथ शारीरिक
तनाव में भी आराम महसूस होता है। उच्च व निम्न रक्तचाप और
हृदय की समस्याओं में ग्रीन टी को लाभदायक पाया गया है।
ग्रीन टी बैड कोलेस्ट्रॉल को कम करने में सहायक है, साथ ही
ये गुड कोलेस्ट्रॉल को बढ़ाने में मदद करती है। इसके
नियमित प्रयोग से रक्तचाप के नियंत्रण में रहता है और
हृदयाघात से बचाव हो सकता है।
सेहत के लिए ग्रीन टी, ब्लैक टी और दूध वाली चाय में कौनसी
चाय बेहतर होती है। इस विषय में भी कुछ शोध हुए हैं।
कुछ मायनों में ब्लैक टी ज्यादा अच्छी होती है तो कुछ
मायनों में ग्रीन टी। डॉ जॉन वेशबर्गर का कहना है कि ब्लैक
और ग्रीन टी दोनो केमेलिया सिनेंसिस नाम के पेड़ की
पत्तियों से बनाई जाती है। लेकिन ब्लैक और ग्रीन टी में
खास अंतर ये है कि ब्लैक टी फेरमेंटेशन से बनती है जबकि
ग्रीन टी को इस प्रतिक्रिया से नहीं गुजरना पड़ता।
फेरमेंटेशन के दौरान चाय से कई स्वाभाविक लाभदायक तत्व
निकल जाते हैं। एक शोध में सामने आया था कि फेरमेंटेशन से
बने खाने से एथियल कार्बोनेट बनने की संभावना होती है और
डब्ल्यू.एच.ओ. के अनुसार एथियल कार्बोनेट कैंसर का कारण हो
सकता है। इसलिए इस तर्क के अनुसार ग्रीन टी शरीर के लिये
ज्यादा फायदेमंद होती है।
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