यों तो डिजिटल कलाकृतियाँ माउस की सहायता से भी बनाई जा सकती हैं, परंतु अगर आप
डिजिटल आर्टिस्ट बनने के लिए सचमुच गंभीर हैं, तो आपके लिए अपने कंप्यूटर पर एक
अदद डिजिटल पेन स्थापित करना वांछनीय होगा। दरअसल माउस को पकड़ कर उसके ज़रिए कुछ
ड्रा करना आमतौर पर सभी के लिए थोड़ा-सा अटपटा होता है और ज़ाहिर है कलाकृतियों में
उतनी सफ़ाई नहीं आ पाती। डिजिटल पेन का आकार ही पेंसिल नुमा होने के कारण यह समस्या
दूर हो जाती है। आपको डिजिटल पेन महज कुछ सौ रुपयों से लेकर कई हज़ार रुपयों तक
में मिल सकते हैं। अच्छे किस्म के डिजिटल पेन में प्रेशर सेंसिटिविटी जैसा तंत्र भी
अंतर्निर्मित होता है, जो आपकी कलाकृतियों को सचमुच के रंग और कैनवस जैसा रूप दे
सकता है। जैसे कि अगर आप कम दबाव डालकर कुछ रेखाएँ खीचेंगे तो वे हल्की प्रकट
होंगी, बनिस्वत ज़्यादा दबाव डाल कर खींची हुई रेखाओं के। पर, इसके लिए
पेंट-प्रोग्रामों को भी प्रेशर सेंसिटिव पेन का इस्तेमाल करने लायक होने चाहिए।
वैसे सभी आधुनिक नये संस्करणों के प्रोग्राम जैसे फोटोशॉप-सीएस2
में ये सुविधाएँ
हैं।
डिजिटल पेन वस्तुत: एक किस्म का माउस ही होता है, जो आमतौर पर अपने एक बोर्ड सहित
मिलता है। इसे माउस के विकल्प के तौर पर भी इस्तेमाल किया जा सकता है। इसका विशेष
बोर्ड स्टेटिक इलेक्ट्रिकल सिग्नल पैदा करता है जिसे पेन नुमा डिवाइस सेंस करता है।
जब आप इस पेन की नोक को उस बोर्ड पर घुमाते हैं तो माउस पाइंटर भी साथ-साथ घूमता
है। डिजिटल पेन पर ही दो या तीन बटन होते हैं जिसका इस्तेमाल सुविधानुसार दायाँ,
बायाँ या मध्य क्लिक के लिए किया जा सकता है। वैसे डिजिटल पेन की नोक पर भी मिनिएचर
स्विच निर्मित रहता है जिसे दबाकर (क्लिक करने जैसा) माउस क्लिक जैसा कार्य लिया जा
सकता है। आमतौर पर डिजिटल पेन अपने ड्राइवर तथा ख़ास अनुप्रयोगों सहित आते हैं,
जिनके ज़रिए कुछ अतिरिक्त कार्य भी किए जा सकते हैं, जैसे कि गो-टॉप का मैजिक पेंट
बोर्ड (डिज़िटल पेन सहित) महज़ 1500 सौ रुपयों में मिलता है, जिसमें एनीमेशन,
दृश्य तथा अन्य कलाकृतियाँ बनाने के साफ़्टवेयर भी होते हैं। उदाहरण के लिए, इसके
ज़रिए हाथी (या ऐसे ही ढेरों अन्य जानवरों) को लेकर कार्टून स्ट्रिप आसानी से तैयार
किया जा सकता है, चूँकि इसमें एक छोटे से प्यारे से हाथी (या ऐसे ही ढेरों अन्य
जानवरों) के सैंकड़ों भाव भंगिमाओं तथा एक्शन दृश्यों युक्त क्लिप-आर्ट हैं जिनमें
से चुनाव कर कार्टून स्ट्रिप की रचना की जा सकती है। आपको अलग से हाथी को ड्रा करने
की ज़रूरत ही नहीं। बस अपनी स्टोरी लाइन पहले डिफ़ाइन कीजिए, आकृतियाँ जो इनमें जम
सके वे ढूँढ़िए और उन्हें चुनकर कहानी के अनुरूप जमा दीजिए, बस। डिजिटल पेन को आप
ट्रेसिंग औज़ार के रूप में भी इस्तेमाल कर सकते हैं - उदाहरण के रूप में जैसे कि
अगर आपको सानिया मिर्ज़ा का कोई केरीकेचर बनाना है या किसी सुंदर फूल की अनुकृति
बनानी है तो उसकी छवि को डिजिटल पेन के बोर्ड के ऊपर, उसकी ट्रांसपेरेंट शीट के
नीचे रख दें। फिर जैसे कि आम चित्रों को ट्रेस किया जाता है, डिजिटल पेन की सहायता
से वैसा ही ट्रेस करें। पर ध्यान रहे कि कोई पेंट प्रोग्राम ज़रूर खोल लें। इससे आप
बिना किसी परेशानी के बढ़िया केरीकेचर/ चित्र बना सकते हैं। विविध किस्मों के
डिजिटल पेन कंप्यूटर हार्डवेयर की दुकानों में आसानी से मिल जाते हैं।
विजुअलाइजेश़न के ज़रिए मॉडर्न आर्ट :
डिजिटल पेन की सहायता से, श्रमसाध्य तरीके से
मॉडर्न आर्ट की रचना करना तो कंप्यूटर रिसोर्सेस का कु-व्यय है! विजुअलाइजेशन के ज़रिए आश्चर्यजनक, आह्लादकारी,
अविश्वसनीय-सी कलाकृतियाँ तैयार करना तो आसान, दो तीन चरणों की क्रियाएँ हैं। आपको
विंडोज़ मीडियाप्लेयर 9 (या अद्यतन) या विनएम्प
2।9 क्ष (या अद्यतन) अपने
कंप्यूटर
पर स्थापित करना होगा। दोनों ही प्रोग्राम मु़फ़्त हैं तथा इनके लिए दर्जनों
विजुअलाइज़ेशन प्लगइन उपलब्ध हैं। इनके कुछ चयनित विजुअलाइजेश़न प्लगइनों को भी
आपको स्थापित करना होगा। आमतौर पर प्लगइन स्वचालित रूप से स्थापित हो सकने योग्य
प्रोग्राम के रूप में जारी किए जाते हैं और मु़फ़्त इस्तेमाल के लिए जारी किए जाते
हैं। अगर आप अलग से विजुअलाइज़ेशन स्थापित नहीं करते हैं तो भी कोई बात नहीं, कुछ
तो इनमें अंतर्निर्मित भी आते हैं। अब आप कुछ संगीत बजाइए और विजुअलाइजेशन को
प्रारंभ करिए (विंडोज़ मीडिया प्लेयर में व्यू/ विजुअलाइजेशन्स के ज़रिए तथा
विनएम्प में प्रेफरेंसेज़/ प्लगइन्स/ विज़ुअलाइजेशन्स के ज़रिए)। विजुअलाइजेशन को
फुलस्क्रीन (या 3/4 स्क्रीन पर) पर चलाने हेतु सेट करें। अब आप स्क्रीन कैप्चर
औज़ार चालू करें तथा संगीत के साथ बनती बिगड़ती डिजिटल कलाकृतियों को निहारते रहें।
जब कोई आकृति अति मनमोहक लगे तो उसे स्क्रीन कैप्चर द्वारा सहेज लें। यदि आवश्यक
लगे तो इसमें कुछ काँट-छाँट करें और पेंट प्रोग्रामों और उनके फ़िल्टर द्वारा
विशेष प्रभाव तैयार करें। बस हो गया तैयार आपका डिजिटल आर्ट! ऐसे आर्ट तो आप एक
घंटे में सौ के भाव से तैयार कर सकते हैं! और, सब के सब नायाब, अलग रूप-रंग के! हर
विजुअलाइज़ेशन प्लगइन अलग तरह के दृश्यों की रचना करता है अत: आपको अपनी डिजिटल
कलाकृति तैयार करने से पूर्व कुछ प्रयोग करने होंगे और कुछ चुनाव भी करने होंगे।
विनएम्प के लिए कुछ अच्छे विजुअलाइजेशन प्लगइन हैं - विनएम्प का अंतर्निर्मित
एडवांस्ड विजुअलाइजेश़न स्टूडियो स्पेस, साइकोसिस, टैक्नोरैप, जीइस, काइनोमॉर्फ़िक
3डी इत्यादि जिन्हें आप 200 से अधिक विजुअलाइजेश़न प्लगइन की सूची में से चुन सकते
हैं। जब आप कलाकृतियों के लिए स्क्रीन कैप्चर कर रहे हों तो अपनी उंगली
प्रिंट-स्क्रीन कुंजी या स्क्रीन कैप्चर करने की विशिष्ट आबँटित कुंजी पर ही रखें।
चूंकि दृश्यावली तुरत-फुरत बदलती रहती है और कभी दोहराई नहीं जाती अत: हो सकता है
कि कुछ अच्छी संभावना युक्त कृतियाँ सहेजने से रह जाएँ। स्क्रीनशॉट लेने के लिए फुल
स्क्रीन मोड के बजाए विंडो मोड उपयुक्त रहता है। आप चाहें तो इसे कुछ मेक्रो के
द्वारा या स्क्रीन कैप्चर औज़ार के द्वारा स्वचालित भी कर सकते हैं। बाद में अपनी
कलाकृतियों के स्टाक में से चुन लीजिए बेहतरीन कलाकृतियाँ! स्क्रीन कैप्चर औज़ारों
की सहायता से आप अपनी कलाकृति को सहेजने से पहले अनावश्यक हिस्सों को काँट-छाँट भी
कर सकते हैं, उनका पूर्वावलोकन कर सकते हैं और विविध, फाइल, फॉर्मेट जैसे बीएमपी,
जेपीजी में सहेज सकते हैं। वैसे, अगर स्क्रीन कैप्चर प्रोग्राम इस्तेमाल नहीं करना
चाहें तो भी कोई बात नहीं। बस, जब भी आपको लगे कि अभी किसी विजुअलाइजेशन पर बढ़िया
कलाकृति बन रही है, अपने कंप्यूटर कुंजीपट का प्रिंट-स्क्रीन बटन दबा दें। फिर
विंडोज़ पेंट प्रोग्राम खोल कर नयी फ़ाइल बनाएँ तथा उसमें एडिट तथा पेस्ट कमांड का
इस्तेमाल कर कैप्चर की गई स्क्रीन को चिपकाएँ। अब अवांछित हिस्सों को काट कर
कलाकृति को रूप दें एवं सहेज लें।
अपनी कैप्चर्ड स्क्रीन आकृतियों को अन्य ग्राफ़िक सॉफ़्टवेयर प्रोग्रामों जैसे कि
फ़ोटोशॉप तथा पेंटशॉप-प्रो के ज़रिए भी सहेज सकते हैं। इन प्रोग्रामों में आपकी
कलाकृति में अतिरिक्त विशिष्ट प्रभाव डालने के कई औज़ार होते हैं, जिनका इस्तेमाल
कर अपनी कलाकृति को और भी प्रभावशाली बना सकते हैं। लीजिए, अब आपकी कलाकृति तैयार
हो चुकी है। इसे चाहें तो आप अपने वेब साइट पर प्रकाशित कर सकते हैं, विविध आकारों
में प्रिंट आउट निकाल कर बेच सकते हैं या इनकी कला प्रदर्शनी लगा सकते हैं। पर हाँ,
यह ध्यान रखें कि बड़े प्रिंटआउट के लिए आपको इन्हें विशेष प्रोग्रामों द्वारा नया,
बड़ा आकार देना होगा अन्यथा आपके बड़े आकार के प्रिंटआउट दानेदार, अस्पष्ट, धुँधले
हो सकते हैं।
रेडीमेड कलाकृति!
आधुनिक ग्राफ़िक्स सॉफ़्टवेयरों के द्वारा न
सिर्फ़ आप एक विशेषज्ञ कलाकार बन सकते
हैं, बल्कि हर संभव प्रकार की रचना कर सकते हैं - जिनमें शामिल हैं- जीवंत, असली
प्रतीत होने वाले एनीमेशन, प्राकृतिक दृश्यावलियाँ, ज्यामितीय आकृतियाँ इत्यादि।
त्रि-आयामी चित्रों की रचनाएं भी आसान हैं जिन्हें हम अपने कंप्यूटर खेलों में
आमतौर पर देखते हैं। त्रिआयामी चित्रों की रचना हेतु ग्राफ़िक इंजिन तैयार किए जा
चुके हैं जिसके ज़रिए आकारों का निर्माण एवं मोशन स्वचालित होता है और हमें बस रूप
रंग का चुनाव करना होता है। फ़ोटोशॉप के फ़िल्टरों या पेंटशॉप-प्रो के इफेक्टस के
ज़रिए किसी तैयारशुदा कलाकृति में अतिरिक्त प्रभाव पैदा कर एकदम नई किस्म की
कलाकृति तैयार की जा सकती है - वह भी चंद मिनटों में। आपको अख़बार का कोई चित्र
पसंद आया, आप उसे स्कैन कर लें। ऐसे ही दो-चार चित्रों को मिला कर, काट-जोड़ कर कोई
कोलाज बना लें और उसमें फ़िल्टरों के ज़रिए विशेष प्रभाव डाल लें - हो गई तैयार
आपकी एकदम नई नायाब रचना। आप अपना स्वयं का कोई आर्टिस्टिक पोर्ट्रेट बनाना चाहते
हैं, तो अपने चित्र को स्कैन कर लीजिए या डिजिटल कैमरे से अपना पोर्ट्रेट खींच
लीजिए। फिर उसे फ़ोटोशॉप में खोल कर उसमें आर्टिस्टिक फ़िल्टर लगा कर कुछ प्रयोग
कीजिए। देखिए कि आपका पोर्ट्रेट किस प्रकार एक नायाब कलाकृति में परिवर्तित होता
है। अगर पसंद न आए तो उस चरण को हटा कर कोई नया फ़िल्टर लगाएँ। कोई न कोई विशिष्ट
प्रभाव आपको जमेगा और आपके पोर्ट्रेट में जान डाल देगा। यही नहीं, कुछ प्रोग्रामों
के पिक्चर टयूब जैसे विकल्पों के ज़रिए आप अपना विशिष्ट किस्म का ब्रश भी बना सकते
हैं जिससे आकारों-चित्रों के ज़रिए कलाकृतियों का निर्माण किया जा सकता है।
कंप्यूटर के ज़रिए कलाकृतियों के निर्माण की संभावनाएँ अनंत हैं। तो देर किस बात
की - उठा लीजिए अपने माउस, डिजिटल पेन और ले आइए बाहर अपने भीतर के कलाकार को!
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नवंबर 2005
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