- कनाडा में लगभग १ 
                          करोड़ वयस्क महिलाएँ हैं। 
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							महिलाओं की औसत आयु ८०.६ वर्ष है, जो पुरुषों की औसत आयु से सात वर्ष अधिक है। 
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							भिन्न प्रकार की जीवन 
                          शैली का महिलाओं के स्वास्थ्य पर भिन्न प्रभाव पड़ता है।
                           
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							कामकाजी विवाहित 
                          महिलाओं का स्वास्थ्य सर्वोत्तम रहता है, चाहे उनके 
                          बच्चे हों या ना हों।  
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							स्वास्थ्य की दृष्टि 
                          से दूसरा स्थान कामकाजी अकेले रहने वाली अविवाहित 
                          महिलाओं का है। इनमें जिनके बच्चे नहीं हैं उनका 
                          स्वास्थ्य बच्चों वाली महिलाओं से बेहतर है। 
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							काम न करने वाली 
                          महिलाओं के स्वास्थ्य काम करने वाली महिलाओं की अपेक्षा 
                          बुरा है। इससे कोई अंतर नहीं पड़ता कि वे विवाहित है या 
                          अविवाहित, बच्चों वाली है या बिना बच्चों वाली। 
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							खाने पीने की आदतें, 
                          समय और धन स्वास्थ्य के अच्छे या बुरे होने को प्रभावित 
                          करते हैं। 
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							कुल मिलाकर ९४ प्रतिशत 
                          महिलाएँ परिवार के खान-पान का ध्यान रखती हैं। 
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							सबसे अधिक महिलाओं की 
                          मृत्यु ह्रदय रोग से होती है। उसके बाद नंबर आता है स्तन 
                          और गुर्दे के कैंसर का। इन बीमारियों का प्रमुख कारण 
                          मोटापा है। 
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							कनाडा की आठ लाख 
                          बुजुर्ग  महिलाओं को,  ऑस्टोपोरोसिस नामक 
                          हड्डियों की बीमारी है। इसलिए महिलाओं में ७५-८० %  
                          हड्डियों की टूट इसी बीमारी के कारण होती हैं। महिलाओं 
                          में मासिक धर्म बंद होने के बाद हड्डी से संबंधित 
                          समस्याएँ पुरुषों की अपेक्षा ६ प्रतिशत अधिक होती हैं। 
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							१९८५ से कनाडा के लोग 
                          मोटापे का शिकार हैं। १९९२ में की गई खोजबीन के अनुसार ३ 
                          में से १ व्यक्ति जानता है कि उसका वज़न सामान्य से अधिक 
                          है। 
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							३६ प्रतिशत महिलाएँ 
                          औसतन वज़न होने के बावजूद भी खुद को मोटा समझती हैं। 
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							८० प्रतिशत महिलाएँ 
                          सेहत के लिए नहीं बल्कि सुंदर दिखने के लिए खान-पान पर 
                          ध्यान देती हैं। 
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							मोटे पुरुषों की 
                          संख्या औरतों से ज़्यादा है लेकिन पुरुषों की तुलना में 
                          दुगुनी महिलाएँ कम खाती हैं।  
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							९५ प्रतिशत डायट 
                          करनेवालों को वज़न सँभाल कर रखने में सफलता नहीं मिलती। 
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							औसत से कम वज़न वालों 
                          की संख्या कनाडा में १४% से घट कर ११% रह गई है। 
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							९५ प्रतिशत महिलाएँ और 
                          ५ प्रतिशत पुरुषों में असंतुलित खानपान के शिकार हैं। 
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							१४ से २५ वर्ख आयु की 
                          महिलाओं में १-२%  को एनोरेक्जिया, और ३-५%  को बुलिमिया 
                          पाया गया। १०-२०% महिलाओं में दोनों दिखाई देते है। 
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							१९८५ में जितने कनाडा 
                          निवासी नियमित व्यायाम पर ध्यान देते थे उसमें गिरावट आई 
                          है, पर कुल जनसंख्या के आधे लोग हफ्ते में कम से कम ३ 
                          बार व्यायाम करने में विश्वास रखते हैं। 
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							३०-४० आयुवर्ग की 
                          महिलाओं में व्यायाम करने में कमी आई है, जबकि ५५ वर्ष 
                          के ऊपर की महिलाएँ अब ज्यादा व्यायाम कर रही हैं। 
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							नियमित व्यायाम 
                          करनेवाली महिलाएँ खुद को तंदुरुस्त महसूस करती हैं और 
                          उनका वज़न भी औसत है। 
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							ज़्यादातर महिलाएँ 
                          मद्यपान तो करती हैं पर पहले की अपेक्षा कम। 
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							सबसे अधिक मद्यपान 
                          करने वाले २०-२४ आयुवर्ग के हैं जिनमें ५८% लड़कियाँ 
                          हैं। 
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							महिलाओं के स्वास्थ्य 
                          में गिरावट का प्रमुख कारण अकेलापन और गरीबी है। 
                           
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							८० प्रतिशत खाने-पीने 
                          के समान की खरीदारी महिलाएँ ही करती है। 
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							क्या खरीदना है इसका 
                          निर्णय अधिकतर दूकान पर पहुँच कर ही होता है। 
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							६४ प्रतिशत खरीदार 
                          किसी खाने के डिब्बों पर लिखी स्वास्थ्य और पोषण सूचनाओं 
                          को पढ़ते हैं। 
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							खानेपीने पर होनेवाला 
                          ३७% खर्च घर के बाहर होता है।  
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							पुरुष सप्ताह में एक 
                          बार और महिलाएँ दो बार बाहर खाना खाते हैं।