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          कलम गही नहिं हाथ  
          
           
            
          बुर्ज दुबई! 
          कल जिस समय यह लेख वेब पर दिखाई देना शुरू 
          होगा दुबई विश्व में भवन निर्माण का एक नया इतिहास रच रहा होगा। दाहिनी 
          ओर चित्र में दिखाई देने वाली विश्व की सबसे ऊँची इमारत
          "बुर्ज दुबई" के 
          लोकार्पण का समारोह चल रहा होगा, लोग टीवी पर जमे होंगे और सारा इमारात 
          गर्व की चादर में डूबा गरमा रहा होगा। 
          ८०० मीटर ऊँचा, १६० से अधिक मंज़िलों वाला 
          यह निर्माण लोकार्पण के साथ ही विश्व में ७ नए कीर्तिमान स्थापित करेगा। 
          यह विश्व की सबसे ऊँची इमारत तो होगा ही, मानव निर्मित सबसे ऊँचा 
          स्वतंत्र ढाँचा भी होगा। इसमें विश्व की किसी भी इमारत से अधिक मंज़िलें 
          होंगी। कुछ मंज़िलों का प्रयोग केवल रखरखाव के लिए किया जाएगा इसके 
          बावजूद इसकी सामान्य रूप से प्रयोग में आने वाली मंजिलों की संख्या भी 
          विश्व की किसी भी इमारत से अधिक होगी। यह विश्व की सबसे ऊँचे छज्जों वाली 
          इमारत होगी और इसकी लिफ्टें दुनिया के किसी भी अन्य भवन से लंबी दूरी तय 
          करेंगी, साथ ही यहाँ विश्व की सबसे ऊँची सर्विस लिफ्टें भी होंगी। 
          विश्व के इस अनोखे भवन के साथ कुछ और रोचक 
          तथ्य भी जुड़े हैं। इसमें २८,२६१ शीशे की खिड़कियाँ हैं जो बाहर की ओर 
          खुलती हैं। इसकी ऊँचाई तक पहुँचने के लिए पेरिस के एफ़िल टॉवर को २९३ बार 
          एक के ऊपर एक खड़ा होना होगा, इसकी चोटी को ९५ किलोमीटर दूर से देखा जा 
          सकेगा और इसकी ऊपरी मंज़िल से ८० किलोमीटर दूरी तक के दृश्य का आनंद लिया 
          जा सकेगा। इस भवन के निर्माण के व्यस्ततम समय में १२,००० कारीगरों ने एक 
          साथ काम किया है और इसके शीशों की सफ़ाई में ६ से ८ हफ़्तों का समय लगता 
          है। ५००,००० टन वज़न वाली इस इमारत को बालू की इस भुरभुरी ज़मीन पर जमाने 
          के लिए ३.७ मीटर मोटे लोहे के तिकोने ढाँचे को नीव में स्थापित किया गया 
          है। इस ढाँचे को स्थिर रखने के लिए १.५ मीटर व्यास के लोहे के खंभे ५० 
          मीटर की गहराई तक ज़मीन के अंदर लगाए गए हैं। 
          बुर्ज दुबई में होटल, स्पा, बाज़ार, 
          व्यावसायिक कार्यालय, रखरखाव की सेवाएँ, पानी की टंकियाँ, सर्विस स्टेशन 
          क्लब और आवासीय फ़्लैट सभी कुछ होगा। दुबई की उमस भरी गर्मी में इसका 
          वातानुकूलन तंत्र, हवा की नमी खींचकर १५ मिलियन गैलन पानी निकालेगा जिसे 
          बेसमेंट में बने एक टैंक में जमा किया जाएगा। इस पानी से भवन से आसपास 
          विकसित हरियाली को सींचा जाएगा।  
          विश्व में कीर्तिमानों का सिलसिला न रुका 
          है न रुकेगा। १९७३ में शिकागो के सियर्स टावर ने ४४२ मीटर ऊँचा उठकर यह 
          कीर्तिमान बनाया था पर दो साल बाद ही १९७५ में टोरोंटो के सी.एन टावर ने 
          ५५३.३ मीटर की ऊँचाई से यह कीर्तिमान तोड़ दिया। इसके बाद ६०० मीटर के आस 
          पास ऊँचाई वाले कुछ और ढाँचों को निर्माण हुआ लेकिन वे आवासीय भवन नहीं 
          थे। उनका उपयोग निगरानी और दूरसंचार के लिए ही किया जाता रहा। देखना यह 
          है कि बुर्ज दुबई के कीर्तिमान को कितने समय बाद तोड़ा जाता है और कहाँ। 
          पूर्णिमा वर्मन४ 
          जनवरी २०१०
 
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